इसे लेकर पीड़ित ने आरोपी चिकित्सक के खिलाफ रिपोर्ट दर्ज कराने की मांग की है।
मंगलवार को बढ़ापुर थाना क्षेत्र के ग्राम उमरपुर निवासी फुरकान ने राष्ट्रीय विकलांग पार्टी के बैनर तले अपनी अबोध बालिका और परिजनों के साथ जिलाधिकारी कार्यालय में प्रार्थना पत्र देकर बताया कि 26 जून को प्रसव पीड़ा होने पर उसने अपनी पत्नी शाकरा को बिजनौर रोड कोतवाली देहात स्थित एक नर्सिंग होम में भर्ती कराया। इस पर चिकित्सक ने उसकी पत्नी का ऑपरेशन से प्रसव कराने की सलाह दी। फुरकान के अनुसार इसके एवज में उससे 15 हजार रुपये जमा कराए गए। आरोप है कि चिकित्सक ने ऑपरेशन के दौरान उसकी पत्नी शाकरा की किडनी निकाल ली। इस कारण उसकी मौत हो गई, जबकि बच्ची स्वस्थ है।
आरोप है कि हड़बड़ाहट में चिकित्सक ने सीजर ग्लब्स और प्लास्टिक वाली नलकी महिला के पेट में ही छोड़ दी, जो महिला के पति के पास आज भी मौजूद हैं। फुरकान के अनुसार चिकित्सक ने मामले की शिकायत करने पर उसे जान से मारने की धमकी दी। उसने बताया कि नोडल अधिकारी डॉ. रोहताश कुमार ने इस मामले में जांच कर आरोपी चिकित्सक के खिलाफ कोतवाली देहात थाने में रिपोर्ट दर्ज करा दी है।
इसके बावजूद आरोपी के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं हो रही है। आरोपी चिकित्सक का कहना है कि सभी आरोप निराधार हैं। यदि उन पर दोष सिद्ध होता है तो वे कोई भी सजा भुगतने को तैयार हैं। नोडल अधिकारी डॉ. रोहताश कुमार ने बताया कि आरोपी चिकित्सक एफआईआर दर्ज होने के बाद से फरार है।