सूचना पर पहुंचे फायर ब्रिगेड के कर्मचारियों ने कई घंटों की कड़ी मशक्कत के बाद आग पर काबू पाया। इस दौरान आसपास के क्षेत्र में अफरातफरी का माहौल हो गया। दहशत के कारण लोग अपने घरों से बाहर निकल आए।
नगर के मोहल्ला काजी सराय द्वितीय में घनी आबादी के बीच स्थित एक कारखाने को किराए पर लेकर मोहम्मद राशिद हैंडीक्राफ्ट का काम करते हैं। उन्होंने बताया कि वह लकड़ी की छड़ी बनाने का काम करते हैं। रविवार दोपहर करीब दो बजे वह कारखाने का ताला लगाकर घर पर खाना खाने चले गए। तीन बजे कारखाने पर लौटे तो देखा कि अंदर भीषण आग लगी हुई है। सूचना पर पहुंचे फायर ब्रिगेड कर्मचारियों ने मोहल्लेवासियों की मदद से कई घंटे की मशक्कत के बाद आग पर काबू पाया। मोहम्मद राशिद ने बताया कि आग से उसका करीब तीन लाख रुपये से अधिक का नुकसान हो गया है। आग लगने से कारखाने में रखा लकड़ी का सारा सामान जलकर राख हो गया है। घनी आबादी के बीच कारखाने में आग लगने से सैकड़ों की संख्या में मोहल्ले वासी इकट्ठा हो गए।
राशिद के मुताबिक वह मजदूरी पर लोगों का हैंडीक्राफ्ट का सामान तैयार करता है। गनीमत यह रही कि जिस समय कारखाने में आग लगी उस समय कारखाने में काम करने वाले मजदूर खाना खाने गए हुए थे। संभावना व्यक्त की जा रही है कि शायद शॉर्ट सर्किट से ही आग लगी होगी।
कारखाने में नहीं था अग्निशमन यंत्र
घनी आबादी के बीच कारखाने में लगी आग को बुझाने के लिए फायर ब्रिगेड के कर्मचारियों को भी कड़ी मशक्कत करनी पड़ी। नगीना फायर सर्विस से पहुंची फायर ब्रिगेड की गाड़ी जब आग पर काबू नहीं पा सकी तो धामपुर से एक दूसरी गाड़ी को बुलाकर आग बुझाई गई। नगीना के फायर स्टेशन के प्रभारी जय प्रकाश शर्मा ने बताया कि कारखाने में आग बुझाने वाला कोई भी यंत्र नहीं मिला है। उन्होंने बताया कि कारखाने में आग से निपटने के लिए कई मानक होते हैं जिसकी लोग अनदेखी करते हैं।